कांग्रेस ने फिर अपनी गरीब विरोधी सोच को प्रदर्शित किया है | अबके हमला सीधे सीधे आम आदमी की रसोई पर हुआ है | डीज़ल ,कैरोसिन और रसोई गैस के दाम बढ़ा कर केद्र में बैठे गैरजिम्मेदाराना रवैय्या दिखा रहे कांग्रेसी नेताओं ने आम आदमी की रही सही कमर को भी तोड़ने का काम किया है | न मालूम कब कांग्रेस के लोग आम आदमी की समस्याओं को समझेंगे ? शर्म की बात है कि देश के प्रधानमंत्री एक अर्थशास्त्री हैं जो अर्थव्यवस्था को पटरी पर लाने के लिए कीमतें बढ़ाने जैसे घटिया और दकियानूसी फैसलों में यकीन रखते है | जैसे स्कूलों में शैतान छात्रों से निपटने का आसान तरीका डंडा हुआ करता था , लेकिन शिक्षा शास्त्रियों ने हमेशा डंडे की मुखालफत की और प्रक्रिया को दंडात्मक न होकर सुधारात्मक बनाने पर जोर दिया |
मेरी गुज़ारिश है कि प्रधानमंत्री जी आम आदमी के दर्द को शिद्दत से महसूस करें और डीजल ,कैरोसिन और रसोई गैस पर हुयी मूल्य वृद्धि को तत्काल वापस लें | क्योंकि आज कांग्रेस का हाथ आम आदमी के साथ न होकर उसकी जेब में है और उसकी गर्दन पर है|
मेरी गुज़ारिश है कि प्रधानमंत्री जी आम आदमी के दर्द को शिद्दत से महसूस करें और डीजल ,कैरोसिन और रसोई गैस पर हुयी मूल्य वृद्धि को तत्काल वापस लें | क्योंकि आज कांग्रेस का हाथ आम आदमी के साथ न होकर उसकी जेब में है और उसकी गर्दन पर है|
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें